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लगभग 50 लाख रुपए के लागत से निर्मित भवन होने लगी जर जर, जनता को नही मिल पाया मृदा परीक्षण केंद्र का लाभ

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साबिर खान की रिपोर्ट 

मवई – केंद्र सरकार हो या राज्य सरकार किसानों को आर्थिक रूप से सशक्त एवम उन्नत खेती की और ले जाने हेतु सैकड़ों योजनाएं चला रही वही इन योजनाओं में सरकार पानी के तरह पैसे बहा रही है किंतु ग्रामीण क्षेत्रों में अनेकों योजनाएं मात्र कागजो में ही सीमित रह गई किसानों को इसका लाभ नही मिल पा रहा है इन अनेक किसान हितेसी योजनाओं का लाभ नही मिल पा रहा हैं केंद्र सरकार ने देश अन्नदाता किसानो के लिए स्वाइल हेल्थ कार्ड जिसमे जमीन की स्वास्थ्य कार्ड देने की बात की थी वही मध्य प्रदेश सरकार ने भी किसानों के मृदा परीक्षण के लिए हर जिले के प्रत्येक ब्लॉक में मृदा परीक्षण प्रयोगशाला का निर्माण कराया था जिससे किसानों को मिट्टी परीक्षण का परिणाम प्राप्त हो सके और तत्वों की कमी को दूर करके किसानों की उपज बढ़ाई जा सके परंतु मवई मुख्यालय में लाखों की कीमत से बना मृदा परीक्षण भवन अनुपयोगी साबित हो रहा है वर्षो पहले लाखो की लागत से बनकर तैयार मुख्यालय मवई का मृदा परीक्षण केंद्र महज शो पीस बन कर रह गया आज तक था मृदा परीक्षण कार्य प्रारंभ न हो सका इसके विपरीत सर्व सुविधा युक्त भवन अब बहुत जल्द खंडहर में तब्दील हो जाएगा
प्रशासन की उदासीनता से शोपीस बन मृदा परीक्षण केंद्र का भवन

वनांचल क्षेत्र मवई में लाखों की लागत से बने मृदा परीक्षण भवन प्रशासन की लापरवाही और स्थानीय जनप्रतिनिधि के उदासीनता के चलते शो पीस बना हुआ है जिसका खामियाजा क्षेत्र के किसानों को भुगतना पड़ रहा है कृषि को बढ़ावा और किसानों की समस्याओं को हल करने का दम भरने वाले नेताओं का भी ध्यान शोपीस बने भवन को विधिवत शुरू करने में नहीं है लाखों की लागत से बने इस जानकारी अनुसार मृदा परीक्षण केंद्र मवई के भवन और तकनीकी मशीनों को मिलाकर देखे तो क्षेत्र की जनता के लिए सरकार से करोड़ों रुपए की राशि खर्च कर दी किंतु फिर भी किसानों को इसका कोई लाभ आज तक नहीं मिल पा रहा है जिससे किसानों को उम्मीद और शासन की मंशा पर पानी फिरता नजर आ रहा है जहा उपयोग न होने से लाखो की लागत से निर्मित भवन जर जर होने के कगार में पहुंच रहा वही यह रखी लाखो की मशीन भी कबाड़ होने लगी है जिम्मेदार मोन है न जाने क्या वजह है

जिम्मेदार नहीं दे रहे ध्यान

वनांचल क्षेत्र मवई का प्रतिनिधित्व करने वाले जन प्रतिनिधि जो अपने आप को जनता का सच्चा हितैषी बताते है उन्होंने भी आज तब इस और ध्यान नही दिया की केंद्र सरकार एवम राज्य सरकार द्वारा संचालित जन हितैषी एवम किसान हेतेसी योजना का लाभ वनांचल क्षेत्र मवई की जनता को मिल पा रहा है या नही मवई घुटास मुख्य मार्ग में बना मृदा परीक्षण केंद्र मवई आने जाने में सामने में ही दिखता है किंतु आज तक किसी जनप्रतिनिधि ने इस ओर ध्यान नही दिया की आखिर लाखो की लागत से तैयार मृदा परीक्षण केंद्र का लाभ किसानों को मिल रहा है

नहीं है तकनीकी कर्मचारी

लगभग 4 साल पहले प्रधानमंत्री स्वाइल हेल्थ कार्ड योजना के तहत लगभग 50 लाख की कीमत से बनकर तैयार हुआ मृदा परीक्षण भवन तकनीकी स्टाफ की कमी के कारण शोपीस बना हुआ है।

अन्य विभाग को दे दे नव निर्मित भवन
मुख्याल मवई स्थित अनेकों शासकीय कार्यालयों के भवन समेत स्कूल भवन जर्जर स्थिति में पहुंच रहे इसके विपरीत प्रशासन ने मृदा परीक्षण केंद्र के नाम से लगभग 40 से 50 लाख रुपए की लागत से नवीन भवन का निर्माण कराया गया वर्षो बीतने के बाद भी इस भवन का उपयोग या केंद्र का संचालन नही किया जा रहा रख रखाव के दरकार में यह भवन भी बहुत जल्द जर जर हो जायेगा वही स्थानीय युवा लक्ष्मी कांत पाठक का कहना है जब मृदा परीक्षण केंद्र का प्रारंभ नही किया जा रहा है और निर्माण के वर्षो बीत जाने का के बाद भी इस भवन का उपयोग नही किया जा रहा है तो शासन की योजना से निर्मित इस लाखो के भवन को किसी अन्य विभाग को दे देना चाहिए जिससे वह अपने कार्यलय का व्यवस्थित संचालन इस अत्याधुनिक भवन से कर सके भवन रखरखाव भी हो जायेगा और शासन के इस भवन का शासकीय कार्य में उपयोग भी होता रहेगा चाहे वह कृषि कार्यालय के रूप में हो या किसी अन्य शासकीय कार्यलय के रूप में। ।

कृषि विभाग की अनेक योजनाओं का लाभ नहीं ले पाते किसान

केंद्र एवम राज्य सरकार द्वारा अनेक योजना कृषि कार्यालय से संचालित होती है किंतु विकास खंड मवई वनांचल क्षेत्र में अधिकांश किसान इन योजनाओं का लाभ नही ले पा रहे अधिकांश योजनाओं की जानकारी भी किसानों तक नहीं पहुंच पाती कृषि विभाग के अधिकारी कर्मचारी भी आला अधिकारियों के द्वारा निर्धारित लक्ष्य कुछ किसानो को बता कर पूरा कर लेते है जबकि अधिकांस किसान कृषि विभाग की अनेक योजनाओं से अनजान है विभाग द्वारा क्षेत्र के किसानों के बीच योजनाओं के व्यापक प्रचार प्रसार करने में उदाशीनता बरत रही है कृषि को उन्नत करने कृषि क्षेत्र में नल कूप खनन हो या उन्नत किस्म की बीजों से संबंधित योजना का न व्यापक प्रचार किया जा रहा न ही इन ढेरो योजनाओं का लाभ किसानों को मिल पा रहा योजनाओं का लाभ कुछ जागरूक किसानो को छोड़ अधिकांश किसान वंचित है जबकि सरकार कृषि को आय का स्रोत बनाने और उन्नत कृषि के लिए लगातार प्रयास रत है।