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शहर को उजाड़ने वालों के खिलाफ मतदान करेंगे लोग

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ब्यूरो रिपोर्ट
 वार्ड क्रमांक 6 के लोगों के बीच पहुंचकर लोगो ने स्वेच्छा से पोस्टकार्ड लिखकर अपना दर्द बयां किया
सारनी। उजड़ते शहर को बचाने के लिए युवा संघर्ष मंच द्वारा चलाए जा रहे एक चिट्ठी सीएम के नाम के अंतर्गत बुधवार को वार्ड क्रमांक 6 के लोगों के बीच पहुंचकर लोगो ने स्वेच्छा से पोस्टकार्ड लिखकर अपना दर्द बयां किया और सारनी को उजाड़ने वालों के प्रति नाराजगी व्याप्त है। वार्ड में लोगों की आंखों में जनप्रतिनिधियों के खिलाफ में गुस्सा साफ झलक रहा था लोगों ने कहा कि हमारा शहर खुशहाल शहर की गिनती में आता था परंतु वर्तमान सरकार की निष्क्रियता के कारण सारनी शहर वीरान होता चला जा रहा है। इसका मुख्य कारण है सारणी पावर हाउस में लगातार इकाइयों का बंद होना एवं नई इकाइयों इकाइयां स्थापित नहीं करना जिसके चलते लोगों ने कहा कि जिनके कारण हमारा शहर उजाड़ हो गया है हम उनके विरुद्ध मतदान कर अपना विरोध जताएंगे।
वार्ड क्रमांक छह में रहने वाले संजू डोंगरे ने बताया कि मुख्यमंत्री ने सारनी में सुपरक्रिटिकल यूनिट लगाने की घोषणा 2018 में की थी। लेकिन धरातल पर कार्रवाई नहीं होने से यह शहर पूरी तरह से उजड़ गया। लोगों को मजबूरी में यहा से पलायन करना पड़ रहा है। लोगों के पास रोजगार का अभाव बना हुआ है। इसके चलते लोगों को परिवार चलाना बड़ा मुश्किल हो रहा है। इसके बाद भी जनप्रतिनिधियों की आंख खुलने का नाम नहीं ले रही है। यहां पहले 11 यूनिट थी जिससे 1642 मेगावाट उत्पादन होता था। लेकिन आज की स्थिति में मात्र दो यूनिट से ही उत्पादन हो रहा है। 62.5 मेगावाट की पुरानी पांच यूनिट को तोड़ दिया गया। जबकि कोरबा में इसी मॉडल की यूनिटी रिनोवेट करके चल रही है। वही इकाई क्रमांक 6, 7, 8, 9 को भी बंद कर रखा है। इन यूनिटों का रिनोवेशन कर दिया जाए तो काफी लोगों को रोजगार मिल जाएगा। इधर युवा संघर्ष मंच के सदस्य शिवाजी सुने, अशोक पचोरिया, विजय पड़लक, शंकर साहू, दीनदयाल गुर्जर, सुदेश तिवारी ने कहा कि इस एक चिट्ठी सीएम के नाम पोस्टकार्ड अभियान से लोगों को उजड़ते शहर को बचाने के लिए जगाने का काम किया जा रहा है। खंडहर हो चुके आवास और लोगों का पलायन होता देख क्षेत्र वीरान हो रहा है। यदि सारनी में जल्द बिजली इकाई नहीं लगाई जाती है तो यह शहर और अधिक उजाड़ हो जाएगा।